बिग बॉस-13 / ओमंग कुमार बोले- सेट लोनावला से मुंबई लाने की वजह सलमान नहीं हैं, 3 साल से चल रही थी प्लानिंग
टीवी डेस्क. टेलीविजन के सबसे विवादित रियलिटी शो ‘बिग बॉस’ जल्द ही अपने 13वें सीजन के साथ लौट रहा है। इस सीजन को भी बॉलीवुड एक्टर सलमान खान होस्ट करते नजर आएंगे। पिछले कई सालों से इस शो की शूटिंग मुंबई से तकरीबन 95 km दूर लोनावला में हो रही थी हालांकि इस बार इसकी शूटिंग गोरेगांव स्थित फिल्मसिटी में होंगी। 18500 स्क्वेयर फीट एरिया में बने इस घर में तकरीबन 93 कैमरे लगे हुए हैं।
शो शुरू होने से पहले दैनिक भास्कर ने शो के आर्ट डायरेक्टर ओमंग कुमार से खास बातचीत की जिन्होंने बताया कि इस बार का घर पिछली बार से भी बड़ा हैं। जाहिर हैं यदि घर बड़ा हो तो कैमरा भी ज्यादा लगे हैं वही इसे बनाने के लिए लोग भी ज्यादा लगे हैं।
ओमंग कुमार ने बताया कैसा है बिग बॉस का घर
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सलमान की वजह से घर बदलने की बात बिलकुल गलत है
पिछले 3 सीजन से हम लोनावला से हटकर किसी और जगह पर घर बनाने की प्लानिंग कर रहे थे जिसके लिए कई सेक्टर्स को देखना होता है। साथ ही इसमें इंवेस्टमेंट्स भी बहुत होते हैं। कोशिश तो 3 सालों से चल रही थी जो इस साल जाकर पूरी हुई। लेकिन हां, सलमान की वजह से घर बदलने की बात बिलकुल गलत है। वो वहां लोनावला में शूट करने के लिए भी तैयार थे, वे हमेशा से ही को-ऑपरेटिव रहे हैं। कई फैक्टर्स को ध्यान में रखकर इसका फैसला लिया गया है। सलमान इसकी वजह बिलकुल नहीं हैं।
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हर फ्रेम हर पेंटिंग को लार्जर देन लाइफ बनाया है
इस सीजन की सबसे खास बात ये है कि इस बार सेट लोनावला नहीं बल्कि मुंबई में बनाया गया है। बहुत ही कलरफुल और यंग थीम को सोचकर, मैंने इस घर का निर्माण किया हैं। हर साल की तरह इस बार भी हमने थीम तय किया था और इस बार का थीम हैं- बिग बॉस 13 म्यूजियम। घर बनाने से पहले मुझे ब्रीफिंग मिली थी की इस बार यंग फील होना चाहिए और बहुत ही वाइब्रेंट घर होना चाहिए बस इसी को ध्यान में रखकर बनाया है। हर फ्रेम, हर पेंटिंग को हमने लार्जर देन लाइफ बनाया है। हर दीवार आपसे बात करती दिखेगी। घर की हर चीज को हमने इस तरह से बनाया है जैसे लगेगा कि वो आपसे कुछ कह रहा है।
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किचन, जहां बहुत झगड़े देखने को मिलते हैं
घर के अंदर हमने कई तरह के जानवरों के चित्र बनाए हैं। घर में रहने वाला हर कंटेस्टेंट उन जानवरों से अपनी तुलना कर सकता है क्योंकि हर जानवर किसी ना किसी पर्सनालिटी से मेल खाता है। म्यूजियम है तो कई सारी पेंटिंग्स हैं, मेनीक्वीन्स (पुतले) हैं। पूरा घर रंगों से भरा है सिवा किचन एरिया के। उस कोने पर हमने बहुत ही सोबर कलर इस्तेमाल किया है क्योंकि घरवाले वहां अपनी हरकतों से रंग भरेंगे। किचन ही एक ऐसा एरिया है जहां बहुत झगड़े देखने को मिलते हैं, कई तांडव देखने मिलते हैं और बस इसीलिए वहां हमने गहरे रंग का इस्तेमाल बिलकुल नहीं किया है। रंग से इंसानों की पर्सनैलिटी से खेला जा सकता है और इसीलिए हर साल की तरह इस साल भी कई रंगों का इस्तेमाल हुआ है।
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6 महीनों से इंफ्रास्ट्रक्चर पर काम कर रहे थे
लोनावला में पहले से ही इंफ्रास्ट्रक्चर बने हुए थे, लेकिन मुंबई में शिफ्ट हुआ तो हमें फिर से इंफ्रास्ट्रक्चर बनाना पड़ा। इसके लिए काफी वक्त चला गया। इसी बीच बारिश भी हो गई, जिसकी वजह से काफी परेशानी भी हुई। पिछले 6 महीने से हम इंफ्रास्ट्रक्चर पर काम कर रहे थे, वहीं घर बनाने में हमने 45-60 दिन तक काम किया। अब जब फाइनल आउटपुट देखा तो लगा जैसे इतने महीनों की मेहनत रंग ले आई।
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घर बनाने में प्लास्टिक का इस्तेमाल नहीं किया
इस घर को बनाने में हमने प्लास्टिक का इस्तेमाल नहीं किया है। फाइबर और प्लास्टर ऑफ पेरिस से हर चीज बनाई है जो लम्बी चलेगी। देखिए हम ये तो नहीं जानते की ये पहल लोगों को कितनी पसंद आएगी लेकिन हमने हमारी कोशिश की है। जितना फ्रेंडली हो सकता है उतना अच्छा बनाया है। इस बात से इंकार नहीं कर सकता कि ये थोड़ा महंगा जरूर था, हमारे पैसे पिछले सालों से ज्यादा खर्च हुए हैं हालांकि हम खुश हैं कि पर्यावरण के लिए कुछ करने का मौका मिल रहा है। उम्मीद करते हैं हमें देखकर दूसरे मेकर्स भी इस तरह का प्रयास शुरू कर दें।