नासा को मंगल ग्रह पर जीवन के संकेत मिले हैं। अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी ने कहा है कि नए शोध में मंगल पर जीवन और एलियन के होने के संकेत मिले हैं। इसे नासा की बड़ी सफलता के रूप में देखा जा रहा है। मंगल पर भेजे गए नासा के अंतरिक्ष यान क्योरोसिटी रोवर से मिले आंकड़ों में यह बात सामने आई है कि वहां बड़ी मात्रा में मीथेन गैस है। प्राकृतिक रूप से यह गैस भूगर्भिक प्रक्रिया से बनती है। साथ ही यह गैस बड़े आकार के जीवों के सूक्ष्म अंगों से भी निकलती है जिसे मीथेनोजेन्स कहते हैं।
मीथेन की मौजूदगी से शोधकर्ता हैरान:
मीथेन की बड़ी मात्रा में मौजूदगी ने इस खोज ने वैज्ञानिकों को हैरान कर दिया है। इस अभियान से जुड़े एक शोधकर्ता का कहना है कि यह हैरान करने वाला है और इसकी अधिक जानकारी के लिए एक अभियान और होगा।
परिणाम को अंतिम न मानें:
नासा के साइंस मिशन के निदेशक थॉमस जुर्बचेन का कहना है कि एक वैज्ञानिक के रूप में यह नया खुलासा बेहद उत्साहित करने वाला है। हालांकि, उनका यह भी कहना है कि मंगल पर जीवन मिलने का अभी यह शुरुआती संकेत है। वैज्ञानिकों को ठोस परिणाम मिलने से पहले इसे अंतिम परिणाम मानने से बचना चाहिए। उन्होंने ट्वीट करते हुए कहा कि वैज्ञानिक परीक्षण के मानकों को बनाए रखते हुए साइंस टीम शुरुआती आंकड़ों का गहन परीक्षण करेगी और उसके बाद ही किसी परिणाम पर बात करेगी।
छह साल में तीन गुना हुई मीथेन गैस:
मंगल के वायुमंडल में मीथेन की मात्रा में पिछले कुछ वर्षों में तेजी से इजाफा हुआ है। मौजूदा समय में मीथेन की जो मात्रा वहां मिली है वह वर्ष 2013 के मुकाबले तीन गुना अधिक है। हालांकि, कुछ शोधकर्ताओं का कहना है कि मीथेन एक प्राकृतिक गैस है और मंगल पर आरंभिक रूप में पाई गई मीथेन प्रचीन कालीन रही हो। उनका कहना है कि वर्तमान में मंगल पर अधिक मात्रा में मीथेन इस वजह से भी हो सकती है कि वहां सतह फटने से बड़ी मात्रा में मीथेन निकली हो। हालांकि, वैज्ञानिक अभी सटीकता के साथ किसी भी परिणाम पर मुहर लगाने में सावधानी बरत रहे हैं। नासा का कहना है कि मंगल पर मीथेन की यह मात्रा अभी शुरुआती वैज्ञानिक परिणाम है और निष्कर्ष पर पहुंचने के लिए काफी कुछ किया जाना बाकी है।