बार काउंसिल ऑफ इंडिया (बीसीआई) ने पिछले हफ्ते एक संयुक्त बैठक की। इसमें सर्वसम्मति से निष्कर्ष निकाला गया कि सुप्रीम कोर्ट और उच्च न्यायालयों के न्यायाधीशों की सेवानिवृत्ति की आयु में तत्काल संशोधन किया जाना चाहिए। बीसीआई ने कहा कि संविधान में तत्काल संशोधन होना चाहिए। उच्च न्यायालय के न्यायाधीशों की सेवानिवृत्ति की आयु 62 से बढ़ाकर 65 वर्ष की जानी चाहिए। साथ ही सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीशों की सेवानिवृत्ति की आयु को बढ़ाकर 67 वर्ष किया जाना चाहिए।
बीसीआई ने अपने बयान में कहा कि इस प्रस्ताव पर तत्काल कार्यवाही करने के लिए इसकी कॉपी प्रधानमंत्री और कानून मंत्री के पास भेजने का फैसला किया गया था। हुई बैठक में बीसीआई ने सर्वसम्मति से जजों के रिटायरमेंट की आयु बढ़ाने की मांग की है।
संसद को प्रस्ताव देने का फैसला
इसके अलावा संयुक्त बैठक में विभिन्न कानूनों में संशोधन पर विचार करने के लिए संसद को प्रस्ताव देने का भी फैसला लिया गया है। जिससे अनुभवी अधिवक्ताओं को भी विभिन्न आयोगों और अन्य फोरम के अध्ययक्ष के रूप में नियुक्त किया जा सके। बैठक में सभी राज्य बार काउंसिल, उच्च न्यायालय बार एसोसिएशन और बार काउंसिल ऑफ इंडिया के पदाधिकारी शामिल हुए थे।