बिलासपुर-(ताज़ाख़बर36गढ़) पुलिस ने बिल्डर पार्टनरों से धोखाधड़ी करने वाले हरदीप खनूजा पर 10 हजार रुपए इनाम घोषित किया है। एसपी आरिफ शेख ने फरार ठग हरदीप को गिरफ्तार करने या फिर उसका पता बताने वाले को 10 हजार रुपए देने की घोषणा की है। पता बताने वाले का नाम गोपनीय रखा जाएगा।
बता दें कि हरदीप एक समय ऑटो चालक था। सूर्या बिल्डकॉन के संचालक सुनील छाबड़ा व अन्य का भरोसा जीतकर वह नामी बिल्डर बन गया। इसके बाद वह अपने पार्टनरों को धोखे में रखकर उनकी जमीन की रजिस्ट्री और एग्रीमेंट तक कर दिया था। मामले का खुलासा होने पर सूर्या बिल्डकॉन के संचालक सुनील छाबड़ा, रवि मोटवानी और अजय गुरुवानी ने तखतपुर थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई। जांच के बाद पुलिस ने आरोपी बिल्डर व ठग हरदीप के खिलाफ धारा 420, 467, 468 के तहत जुर्म दर्ज कर लिया। पुलिस के अनुसार 16 अगस्त 2015 से हरदीप फरार है, जिसकी तलाश की जा रही है।
पुलिस ने किया भगोड़ा घोषित
पुलिस की टीम करीब एक माह से आरोपी हरदीप की तलाश कर रही है। उसके कई ठिकानों पर छापे मारे गए, लेकिन वह नहीं मिला। मामले की गंभीरता को देखते हुए एसपी शेख ने उसे भगोड़ा घोषित कर दिया है।
मामला हरदीप उर्फ राजू के खिलाफ तखतपुर थाने में फर्जी तरीके से पार्टनर की जमीन बेचने और धोखाधड़ी के आरोप में विभिन्न धाराओं के तहत अपराध दर्ज हैं। हरदीप पर आरोप है कि उसने तीन अन्य पार्टनर को अंधेरे में रखकर तखतपुर ब्लाक स्थित अरईबंध की 35 एकड़ जमीन को पांच करोड़ 16 लाख में फर्जी दस्तावेज के सहारे अधिराज बिल्डर से सौदा कर लिया। हरदीप ने सौदा के बाद बतौर बयाना अधिराज बिल्डर से 1 करोड़ 6 लाख रुपए लिए थे।
जांच में हुआ खुलासा अधिराज बिल्डर ने जब हरदीप पर दबाव बनाया तो हरदीप ने सुनील छावड़ा और अन्य पार्टनरों के फर्जी हस्ताक्षर से बिक्रीनामा तैयार किया। मामले में सुनील छावड़ा की शिकायत पर पुलिस प्रशासन सभी दस्तावेज की सत्यता जांच करने पीएचक्यू को भेजा। पीएचक्यू ने अपनी रिपोर्ट में बताया कि बिक्रीनामा के सभी दस्तावेज फर्जी तरीके से तैयार किए गए हैं। सच्चाई सामने आने के बाद वरिष्ठ पुलिस कप्तान आरिफ शेख ने हरदीप खनूजा के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी करवाया। गिरफ्तारी वारंट जारी होने के बाद पिछले 20 दिनों से हरदीप खनूजा फरार है। जिला सत्र न्यायालय ने भी खनूजा को जमानत देने से इनकार कर दिया।