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बिलासपुरराजनीति

बिलासपुर: पुलिस बेरेकेटिंग तोड़कर शहर विधायक शैलेश पांडेय के शासकीय आवास का भाजपा ने किया घेराव…जमकर हुई नारेबाजी… 

शहर विधायक शैलेश पांडेय के सरकारी आवास को पुलिस बेरेकेटिंग तोड़ कर घेराव करते हुए जमकर नारेबाजी किया और

बिलासपुर। भारतीय जनता पार्टी ने 2018 विधानसभा चुनाव में जारी कांग्रेस के जन घोषणा पत्र से मुकरने और वादा खिलाफी करने का आरोप लगाते हुए शहर विधायक शैलेश पांडेय के सरकारी आवास को पुलिस बेरेकेटिंग तोड़ कर घेराव करते हुए जमकर नारेबाजी किया और ज्ञापन सौंपा।

भाजपा ने आरोप लगाया कि 2018 विधानसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी द्वारा जारी “जन घोषणा पत्र” में “शहरी और ग्रामीण आवास का अधिकार” आम जन को देने का वादा किया गया था। शहर विधायक ने भी बिलासपुर विधानसभा में चुनाव जीतने के लिए यही वादा जनता से किया था। आज कांग्रेस के भूपेश बघेल सरकार को चार साल से ज्यादा समय बीत चुका है। प्रदेश की सरकार आवासहीन गरीबों की भावना से खिलवाड़ कर रही है और आपने भी अपने गरीब मतदाताओं की कभी चिंता नहीं की।

इतना ही नही घेराव करने वाले भाजपा नेताओं ने कहा की शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में आपके सरकार की कोई योजना साढ़े चार साल में आ न सकी जिसका विश्वास आपने जनता को “आवास का अधिकार” जैसे शब्दों के साथ दिलाया था। साथ ही घोर आपत्तिजनक यह है कि गरीबों की योजना “प्रधानमंत्री आवास” और छत्तीसगढ़ प्रदेश की गरीब जनता के बीच भूपेश सरकार बड़े दीवार की तरह खड़ी हो गई है।

शहरी क्षेत्रों में “प्रधानमंत्री आवास योजना का नाम बदला गया है। आवासीय पट्टे के लिए गरीबों से लाखों रूपये अधिकृत तौर पर वसूले जा रहे हैं अनाधिकृति वसूली की बात अलग है। औपचारिकता पूर्ण होने तथा नगरीय निकाय से राज्य शासन को प्रस्ताव भेजे जाने के बाद भी प्रधानमंत्री आवास स्वीकृत नहीं किया जा रहा है। दुर्भाग्यपूर्ण है कि प्रदेश के नगर निगमों में “मोर मकान मोर आवास” नाम से प्रधानमंत्री आवास देने के लिए भूपेश सरकार आवासहीन गरीबों से 3.25 लाख रूपये प्रति परिवार वसूल रही है जबकी इसमें हितग्राही से मात्र 75 हजार रूपए लेना चाहिये। समूचे प्रदेश के नगरीय निकाय में प्रधानमंत्री आवास देने की कोई सीमा निर्धारित नहीं है फिर भी शहर के गरीब आवास से वंचित हैं।

ग्रामीण क्षेत्रों में वर्ष 2011 में हुए सामाजिक आर्थिक सर्वेक्षण के आवासहीनों की सूची के 7,81,999 परिवारों का आवास आपने और भूपेश बघेल की सरकार ने बनने नहीं दिया। केंद्र सरकार के ग्रामीण विकास विभाग के पूर्व मंत्री नरेंद्र सिंग तोमर ने 6 जुलाई 2021 को तथा वर्तमान मंत्री गिरिराज सिंग ने 15 सितम्बर 2021 को व्यक्तिगत रूप से मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को पत्र लिख कर 2011 की सूची के लगभग 7,81,999 आवासों को जल्द प्रारम्भ करवाने का आग्रह किया। केंद्रीय मंत्रियों द्वारा लिखे ये पत्र शासकीय पत्राचार से पृथक थे। इन पत्रों में केंद्रीय मंत्रीगण ने भूपेश बघेल का ध्यान भी आकृष्ट किया की देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वर्ष 2022 तक 2011 की सूची पूर्ण करने का संकल्प लिया है।

भाजपा नेताओं ने ज्ञापन में माध्यम से बताया की छत्तीसगढ़ में भूपेश बघेल की सरकार के वरिष्ठ केबिनेट मंत्री टी.एस. सिंहदेव द्वारा पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग का प्रभार छोड़ने का पहला और मुख्य कारण भी यही था। अपने त्यागपत्र में उन्होंने मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को लिखा है की “प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत प्रदेश के आवास विहीन लोगों को आवास बनाकर दिया जाना था जिसके लिए मैंने कई बार आपसे चर्चा कर राशि आवंटन का अनुरोध किया था किंतु इस योजना में राशि उपलब्ध नहीं की जा सकी फलस्वरूप प्रदेश के लगभग 8 लाख लोगों के लिए आवास नहीं बनाये जा सके।

आज देश में 2.38 करोड़ आवास बन गये परंतु छत्तीसगढ़ की सरकार ने प्रधानमंत्री आवास को रोके रखा। देश के सभी राज्यों ने (छत्तीसगढ़ और पश्चिम बंगाल को छोड़ कर ) प्रधानमंत्री आवास ग्रामीण की 2011 की सूची पूर्ण कर ली और वर्ष 2016 के सर्वे सूची जिसे “आवास प्लस” कहा जाता है उसपर काम शुरू कर दिया है। वर्ष 2016 की सूची में पुनः छत्तीसगढ़ के लगभग 8 लाख गरीबों का नाम है जिसमें से 3,85,652 आवास केंद्र द्वारा छत्तीसगढ़ को उपलब्ध करवाया गया है। जिसका उल्लेख ग्रामीण विकास मंत्रालय भारत सरकार के सचिव के पत्र दिनांक 22 अगस्त 2022 में किया गया है।

बीजेपी नेताओं ने कहा की आज इस ज्ञापन के माध्यम से आपको अवगत कराना चाहते हैं की प्रधानमंत्री आवास गरीबों का अधिकार है जिसे आपने और भूपेश बघेल सरकार ने रोक रखा है। गरीब माता का चूल्हा बारिश के पानी से बुझ जाये, कच्चे घर के मरम्मत में हर साल गरीब परेशान रहे, बंदर छानी में कूदें और खपरैल सारे टूट जायें इन सभी बातों से आपका और आपकी सरकार का सरोकार नहीं है तो हमें भी आपसे और आपकी सरकार से कोई सरोकार नहीं है अतः इस फरवरी माह में ही प्रधानमंत्री आवास गरीबों को प्रदान किया जाये।

भाजपा के कार्यकर्ता भी प्रधानमंत्री आवास तथा भूपेश बघेल सरकार के विकास विहीन अत्याचारी सरकार के विरूद्ध जनता की लड़ाई में जनता के साथ हैं। भाजपा नेता मनीष अग्रवाल ने चेतावनी देते हुए कहा कि यदि ये सरकार तुरंत ही प्रधानमंत्री आवास स्वीकृत नहीं करती है तो शीघ्र ही सरकार को बड़े जन-आंदोलन को झेलना पड़ेगा।

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