बिलासपुर, 19 जून 2025। भारत सरकार के सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय द्वारा शुरू की गई ‘राहवीर योजना’ देशभर में सड़क दुर्घटना पीड़ितों की जान बचाने वाले लोगों को प्रोत्साहित करने की एक सराहनीय पहल है। इस योजना का उद्देश्य गंभीर सड़क हादसों के समय गोल्डन ऑवर यानी दुर्घटना के बाद के पहले एक घंटे के भीतर पीड़ित को अस्पताल या ट्रामा सेंटर पहुंचाकर उसकी जान बचाने वालों को सम्मानित करना है।
क्या है ‘गोल्डन ऑवर’?
मोटर वाहन अधिनियम की धारा 2(12A) के अनुसार, “गोल्डन ऑवर” वह एक घंटा होता है जो किसी गंभीर सड़क दुर्घटना के बाद सबसे अहम माना जाता है। इस समय यदि पीड़ित को समय पर इलाज मिल जाए, तो उसकी जान बचने की संभावना सबसे अधिक होती है।
कौन बन सकता है ‘राहवीर’?
कोई भी व्यक्ति जो गंभीर सड़क दुर्घटना में घायल व्यक्ति को अपनी पहल पर गोल्डन ऑवर के भीतर अस्पताल पहुंचाता है और उसकी जान बचाने में सहायता करता है, वह इस योजना के अंतर्गत ‘राहवीर’ कहलाएगा और सम्मान का पात्र होगा।
पुरस्कार और सम्मान
- प्रत्येक ‘राहवीर’ को प्रति घटना 25,000 रुपए की नगद राशि दी जाएगी।
- साथ ही प्रशंसा प्रमाण पत्र और ट्रॉफी प्रदान की जाएगी।
- हर वर्ष देशभर के चुने गए 10 सर्वश्रेष्ठ राहवीरों को 1 लाख रुपये, राष्ट्रीय स्तर पर ट्रॉफी और सम्मान पत्र दिया जाएगा।
- एक व्यक्ति को वर्ष में अधिकतम 5 बार इस योजना के अंतर्गत पुरस्कृत किया जा सकता है।
कैसे किया जाएगा चयन?
घटना की सूचना यदि राहवीर द्वारा पुलिस को दी जाती है, तो पुलिस डॉक्टर से सत्यापन के बाद आधिकारिक लेटर पैड पर एक पावती पत्र जारी करेगी। इस पत्र में नाम, पता, मोबाइल नंबर, घटना की तारीख-समय व मदद का विवरण होगा। यह दस्तावेज मूल्यांकन समिति को भेजा जाएगा, जो पात्रता की समीक्षा कर योजना का लाभ सुनिश्चित करेगी।
पारदर्शी भुगतान व्यवस्था
राहवीरों को मिलने वाली राशि सीधे पीएफएमएस (PFMS) प्लेटफॉर्म के जरिए उनके बैंक खाते में जमा की जाएगी। इसके लिए राज्य परिवहन विभाग एक अलग खाता बनाएगा और केंद्र सरकार से मासिक आधार पर राशि प्राप्त करेगा।
योजना का प्रचार-प्रसार
राज्य सरकारें इस योजना का प्रिंट, इलेक्ट्रॉनिक और सोशल मीडिया के माध्यम से व्यापक प्रचार करेंगी ताकि आम जनता अधिक से अधिक जागरूक हो सके और जरूरतमंदों की मदद के लिए आगे आए।
कानूनी सुरक्षा
मोटर वाहन (संशोधन) अधिनियम, 2019 की धारा 134ए और अधिसूचना दिनांक 29 सितंबर 2020 के अनुसार, राहवीर (गुड सेमेरिटन) के विरुद्ध कोई भी कानूनी कार्यवाही उनकी सहमति के बिना नहीं की जाएगी। यदि उनके अधिकारों का उल्लंघन होता है तो वे जिला शिकायत निवारण समिति से संपर्क कर सकते हैं।
कब तक लागू रहेगी योजना?
यह योजना 31 मार्च 2026 तक लागू रहेगी और इसे समय-समय पर मंत्रालय द्वारा पुनः मूल्यांकन कर अपडेट भी किया जा सकता है।