जबकि शासन द्वारा किसी प्रकार का शुल्क नहीं लिया जाना है बल्कि नसबंदी उपरांत 2000 रु का आर्थिक अनुदान दिया जाता है
कोरबा। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र कटघोरा में शासन की महत्वपूर्ण योजना परिवार नियोजन ,नसबंदी के लिए मितानिनो द्वारा हितग्राहियों से कमीशन वसूला जा रहा है। जबकि नसबंदी काण्ड जैसी घटनाओं से पहले भी प्रदेश का समूचा स्वस्थ विभाग सुर्खियों में रहा है और अब मितानिनों एवं डॉक्टरों द्वारा कमीशन लिया जाना स्वस्थ विभाग के लिए शर्मनाक बात है।
ज्ञात हो कि जनसंख्या दर सीमित करने केंद्र एवं राज्य सरकार प्रयासरत्त है तथा जिसके लिए स्त्री एवं पुरुष नसबंदी के माध्यम से परिवार नियोजन की परिकल्पना को साकार किया जा रहा है और लोगो को राष्ट्र हित मे योगदान करने छोटे परिवार खुशिया अपार जैसी धरना का प्रचार करते हुए मानसिकता भी बदली जा रही है। परन्तु शासन की महत्वपूर्ण योजना नसबंदी का हाल कोरबा जिले के कटघोरा स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में अजीब वाकया सामने आया है जहाँ नसबंदी कराने आये हितग्राहियों से मितानिनों द्वारा कमीशन लिया जा रहा है जबकि शासन द्वारा नसबंदी कराने वाले हितग्राहियों को 2000 रु चेक के माध्यम से आर्थिक सहायता भी प्रदान की जाती है लेकिन मितानिनों द्वारा हितग्राहियों से 1000 रु नगद तथा 600 रु की दवा के लिए पैसे की वसूली किया जाना स्वस्थ विभाग के लिए शर्मनाक बात है। जानकारी हो कि परिवार नियोजन योजना नसबंदी के लिए हितग्राहियों से किसी प्रकार का शुल्क नहीं लिया जाता है।
नसबंदी कराने आये हितग्राही का नाम शैलेन्द्री कुर्रे पति लखनलाल कुर्रे सास बिसाहिन बाई जो कि अपनी बहू का नसबंदी कराने पंहुची थी, गणेशीन पटेल पति हरीश पटेल निवासी कासनिया वार्ड 14 तथा इनका कल ऑपरेशन किया गया था इनसे दवाई के नाम पर मितानिनों द्वारा 850 रु लिए गए तथा 1000 रु डॉक्टर को ऑपरेशन के लिए लिया गया।
मामले में जब सक्षम अधिकारी कटघोरा सीएमओ से बात करनी चाही तो उन्होंने पारिवारिक कार्य मे व्यस्तता के कारण बताकर मामले से कन्नी काट लिया वही क्षेत्र के बीएमओ ने भी गोलमोल जवाब देकर किनारा कर लिया।