एक सप्ताह से एम्स में भर्ती पूर्व वित्त मंत्री अरुण जेटली की हालत को लेकर एक बड़ी खबर सामने आ रही है। खबरों के मुताबिक, उनकी हालत बेहद नाजुक बनी हुई है। उनकी हालत इस वक्त इतनी खराब है कि उन्हें वेंटिलेटर से हटाकर ईसीएमओ यानी एक्सट्राकॉर्पोरियल मेंब्रेन ऑक्सीजिनेशन पर रखा गया है।
बता दे कि, ईसीएमओ पर मरीज को तभी रखा जाता है जब दिल, फेफड़े ठीक से काम नहीं करते और वेंटीलेटर का भी फायदा नहीं होता। इससे मरीज के शरीर में ऑक्सीजन पहुंचाया जाता है। मालूम हो कि उन्हें संक्रमण ने चपेट में ले लिया है। शनिवार सुबह जेटली का हालचाल जानने राज्य मंत्री जितेंद्र सिंह एम्स पहुंचे।
गृहमंत्री अमित शाह आज दोबारा जेटली का हाल जानने एम्स जाएंगे। इसके साथ ही केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ. हर्षवर्धन और बसपा सुप्रीमो मायावती भी पहुंची हैं। मायावती अरुण जेटली के परिजनों से भी मिलीं। कांग्रेस नेता अभिषेक मनु सिंघवी भी जेटली से मिलने अस्पताल पहुंचे हैं।
शुक्रवार को उनकी तबीयत में अचानक गिरावट दिखी। उनका उपचार कर रहे एम्स के वरिष्ठ डॉक्टरों ने आनन-फानन में दवाओं की डोज बढ़ाने का फैसला लिया। उधर, राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद उनके स्वास्थ्य की जानकारी लेने और उनके परिजनों से मिलने के लिए एम्स पहुंचे। उनके साथ केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ. हर्षवर्धन और राज्यमंत्री अश्विनी कुमार चौबे भी थे।
जानकारी के अनुसार, पूर्व वित्त मंत्री अरुण जेटली को 9 अगस्त को सांस लेने में तकलीफ के कारण एम्स में भर्ती कराया गया था। परिजनों के अनुसार, सुबह नाश्ते के वक्त अरुण जेटली को अचानक सांस लेने में तकलीफ हुई थी। इसके बाद डॉक्टरों ने उन्हें भर्ती करने का फैसला लिया था। तब से एम्स के पल्मोनरी, हार्ट, नेफ्रोलॉजी, एंडोक्रोनोलॉजी इत्यादि पांच विभागों के वरिष्ठ डॉक्टरों की टीम की निगरानी में उनका उपचार जारी है