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छत्तीसगढ़

छत्तीसगढ़: भेड़ों की मौत से अधिकारियों में हड़कंप, किसान ने लगाया आरोप, पीएम रिपोर्ट का इंतजार…

अचानक मौत ने पशु चिकित्सा विभाग के अधिकारियों की नींद उड़ा दी है। क्षेत्र में अब तक 45 भेड़ों की मौत के बाद जहां...

छत्तीसगढ़ में बालोद जिले के डौंडी लोहारा क्षेत्र में पालतू पशुओं की अचानक मौत ने पशु चिकित्सा विभाग के अधिकारियों की नींद उड़ा दी है। क्षेत्र में अब तक 45 भेड़ों की मौत के बाद जहां पशुपालकों में आक्रोश है। तो वहीं पशु चिकित्सक हैरान है कि आखिर इस तरह से भेड़ों की मौत का कारण क्या है। पशु चिकित्सा विभाग के अधिकारी अब पोस्टमार्टम रिपोर्ट का इंतजार कर रहें हैं।

कृमिनाशक दवा खिलाने से हुई मौत :किसान

डौण्डी लोहरा क्षेत्र के ग्राम भर्रीटोला के पशुपालक श्याम लाल ने बताया कि उनके पास लगभग 250 भेड़ है। डॉक्टरों ने कुछ दिन पहले कृमि नाशक दवा पशुओं के लिए दी थी। पशु चिकित्सा विभाग से मिली दवाई को खिलाने के बाद से उनकी भेड़ एक एक कर मर रहीं है। अब तक 45 भेड़ की मौत हो चुकी है। इसमें 20 भेड़ के बच्चे व 25 बड़े भेड़ शामिल हैं। इस घटना से भेड़ पालक श्याम लाल धनकर को लगभग ढाई लाख का नुकसान हुआ है।

किसान की मांग पर विभाग द्वारा दी गई थी दवाई

बालोद जिले के कृषि विभाग के प्रभारी उपसंचालक डाॅ. देवेंद्र सिहारे ने बताया कि सितंबर में भेड़ पालक श्याम लाल धनकर ने मांग की थी, कि भेड़ों को बीमारी से बचाने कृमि नाशक दवाई दी जाए। इसके बाद 29 सितंबर को पशु चिकित्सा विभाग ने किसान के घर जाकर दवाई दी थी। किसान को बताया गया कि दस किलो की भेड़ को एक एमएल व 50 किलो की भेड़ को 5 एलएल दवा दी जाए। किसान के अनुसार दवा पिलाने के बाद एक-दो भेड़ रोज मर रही है।

भेड़ों को चढ़ाया गया था ग्लूकोस, नहीं थमा मौत का सिलसिला

किसान की शिकायत मिलते ही पशु चिकित्सा विभाग ग्राम कुसुमकसा के डॉक्टरों ने लगातार दो दिनों तक किसान के घर जाकर भेड़ों का उपचार किया इस दौरान छह भेड़ का स्वास्थ्य परीक्षण किया गया तो 105 डिग्री बुखार पाया गया। जिसके बाद पशु चिकित्सक ने इंजेक्शन लगाया। कमजोर भेड़ों को ग्लूकोस भी चढ़ाया गया, लेकिन दूसरे दिन लगातार भेड़ों की मौत का सिलसिला जारी रहा।

पशुपालक ने लगाया आरोप, सैम्पल भेजा गया लैब
मृत भेड़ों का पोस्ट मार्टम कराया है। मौत का कारण जानने मंगलवार को तीन भेड़ों का सैंपल लेकर जांच के लिए रायपुर भेजा है। जांच रिपोर्ट आने के बाद पता चलेगा कि किस कारण मौत हो रही है। वहीं भेड़ पालक ने पशु चिकित्सा विभाग पर आरोप लगाया है कि बीते दिनों विभाग ने कृमि नाशक दवाई दी थी, जिससे भेड़ों की मौत हुई है। पशु चिकित्सा विभाग ने पशुपालक के इस आरोप को गलत बताया है।

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